जयपुरNidarindia.com प्रदेश में अफसरशाही हावी होने की बात अब खुद सत्तापक्ष के नेता उठा रहे हैं। कांग्रेस के विधायकों का आरोप है कि प्रदेश में अफसरों की मनमानी चल रही है। इसके चलते कई विधायक अपना रोष जाहिर कर चुके हैं।
इसमें कई विधायक, नेता मुख्यमंत्री और प्रदेश प्रभारी अजय माकन से भी अफसरशाही के हावी होने की शिकायत कर चुके हैं। तो वहीं दूसरी ओर खाद्य और आपूर्ति मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने भी अफसरों पर नेताओं की अनदेखी करने का आरोप लगाया है। उन्होंने इस तरह के अफसरों पर कार्रवाई करने की बात उठाई है।
प्रस्तावित है राज्यसभा चुनाव…
राज्यसभा चुनाव वर्तमान में प्रस्तावित है, इससे पहले यह मुद्दा एक बार फिर उठ रहा है। प्रियंका गांधी के साथ में कांग्रेस के सह प्रभारी सचिव धीरज गुर्जर ने भी अफसरशाही को लेकर नाराज है।
सीएम अशोक गहलोत के सलाहकार संयम लोढ़ा ने दो दिन पहले ही गृह विभाग और राजस्व विभाग के अफसरों के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव दिया है। सीएम के सलाहकार का दो विभागों के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव पेश कर ब्यूरोक्रेसी पर निशाना साधा है।
बीज निगम अध्यक्ष धीरज गुर्जर ने ट्वीट कर ब्यूरोक्रेसी पर निशाना साधा। उन्होंने लिखा है कि अधिकारी कभी किसी सरकार के नहीं होते। वो सत्ता के और खुद के होते हैं, वो सरकार की कब्र खोद रहे होते हैं। समय पर इनकी पहचान न करने से किसी भी सरकार को गंभीर परिणाम भुगतने पड़ते हैं।
अफसर नहीं सुनते…
बेगूं से कांग्रेस विधायक राजेंद्र बिधूड़ी ने अफसरशाही के खिलाफ लंबे समय से मोर्चा खोल रखा है। बिधूड़ी सार्वजनिक रूप से अफसरों पर आरोप लगा रहे हैं। बिधूड़ी ने कहा- कार्यकर्ताओं की सुनवाई नहीं हो रही है। कांग्रेस कार्यकर्ता की थानेदार नहीं सुनता। उनका आरोप है कि एमएलए तक की थानेदार, कलेक्टर नहीं सुनते।
सूत्रों की माने तो बीते दिनों मुख्य सचिव ने इस संबंध में एक सर्कुलर जारी किया था, जिसमें उन्होंने नेताओं का सम्मान करने की बात कही थी। इस सर्कुलर में अफसरों को विधायकों-जनप्रतिनिधियों का सम्मान करने, उनके मुद्दों की सुनवाई करने के निर्देश दिए गए थे।