आस्था : रामदेवरा जाने वाले पैदल यात्रियों के लिए सेवादार हुए मुस्तैद, कई स्थानों पर लगेंगे शिविर, पैदल रवानगी शुरू - Nidar India

आस्था : रामदेवरा जाने वाले पैदल यात्रियों के लिए सेवादार हुए मुस्तैद, कई स्थानों पर लगेंगे शिविर, पैदल रवानगी शुरू

बीकानेरNidarIndia.com ‘चलों रे चालां रुणिचे चालां, सगळा रा दुखड़ा हरसी बाबो रामदेव…भजन की यह पंक्तियां इन दिनों बीकानेर में साकार हो रही है। अपनी-अपनी फरियादें लेकर आस्थावान श्रद्धालु लोक देवता बाबा रामदेवजी के दरबार में धोक लगाने के लिए निकल पड़े हैं।

कोरोना के मुश्किल समय के बाद इस बार रुणिचा धाम में मेला भरा है, तो लाखों की तादाद में लोग रामदेवरा की ओर पैदल निकल पड़े हैं। पैदल यात्रियों की रेलमपेल अभी लगातार कई दिन तक रहेगी। पांच सितंबर को भादव माह की दशमी का मुख्य मेला भरेगा।

सेवादार भी पीछे नहीं है…

पदयात्रियों के रास्तें में किसी तरह की असुविधा नहीं हो, इसके लिए सेवादार भी पूरी मुस्तैदी के साथ जुट गए हैं। कई संस्थाएं पद यात्रियों की सेवा के लिए चाय, नाश्ता, भोजन, चिकित्सा सहित व्यवस्थाएं मुहैया कराती है। बीकानेर के साथ ही कोलकाता, मुम्बई, दिल्ली, चैन्नई सहित कई महानगरों से भी सेवादार पद यात्रियों की सेवा के लिए पहुंचते हैं। बीकानेर से कई संस्थाओं की टीमें पद यात्रियों के शिविर लगाने के लिए रवाना हो चुकी है।

भल्ला फाउण्डेशन लगाएगा लंगर…

बीकानेर के भल्ला फाउण्डेशन की ओर से इस बार भी रुणिचा में लंगर चलाया जाएगा। संस्था के खाद्य सामग्री के ट्रक को शुक्रवार को ऊर्जा मंत्री भंवर सिंह भाटी और संभागीय आयुक्त डॉ. नीरज के. पवन ने झंडी दिखाकर रवाना किया। इस मौके पर ऊर्जा मंत्री भाटी ने कहा कि भल्ला फाउण्डेशन की ओर से बीते चार दशक से अधिक समय से मेले के दौरान सेवा कार्य किए जा रहे हैं, यह सराहनीय है। उन्होंने कहा कि रुणिचा में भरने वाला बाबा रामदेव का मेला साम्प्रदायिक सौहार्द का प्रतीक है। यहां हर जाति और सम्प्रदाय के लोग पूरी श्रद्धा के साथ पहुंचते हैं। उन्होंने कहा कि मेले, उत्सव और त्यौहार हमारे जीवन में नई ऊर्जा का संचार करते हैं। कोरोना संक्रमण के दो वर्ष बाद भरने वाले इस मेले का पूरे उत्साह और उमंग के साथ आनंद लिया जाए।

डॉ. भीमराव अम्बेडकर पीठ के महानिदेशक मदन गोपाल मेघवाल ने कहा कि मेले और त्योहार हमारी सांस्कृतिक एकता को और अधिक सुदृढ़ करते हैं। आज के दौर में इनकी अधिक प्रासंगिकता है।
संभागीय आयुक्त ने कहा कि रुणिचा का मेला पूरे देश में विशेष पहचान रखता है। यहां देश के कौने-कौने से जातरु आते हैं। उन्होंने कहा कि बीकानेर संभाग से गुजरने वाले मेलार्थियों को किसी प्रकार की समस्या नहीं हो, इसके मद्देनजर सभी व्यवस्थाएं चाक-चौबंद की गई है। उन्होंने आह्वान किया कि पैदल यात्री भी प्रशासनिक व्यवस्थाओं और नियमों की पालना करें।

भल्ला फाउण्डेशन के व्यवस्थापक हीरालाल हर्ष ने कहा कि संस्थान की ओर से बीते 42 वर्षों से सेवा कार्य अनवरत किए जा रहे हैं। इस दौरान प्रतिदिन हजारों जातरुओं के लिए लंगर की व्यवस्था की जाती है।

पांच सितंबर तक चलेगा…

संस्था के सचिव राजेन्द्र जोशी ने बताया कि शनिवार से 5 सितम्बर तक रुणिचा में जातरुओं के लिए भोजन की व्यवस्था रहेगी। वहीं दर्शन के लिए पंक्ति में खड़े जातरुओं के लिए पेयजल की सुविधा मुहैया कराई जाएगी।
रोटरी क्लब के राजेश चूरा ने मेले की व्यवस्थाओं से जुड़े अनुभव सांझा किए।

भल्ला फाउण्डेशन के अध्यक्ष तोलाराम पेड़ीवाल ने आभार जताया। इस मौके पर रवि पारीक, अरविंद मिड्ढा, मदनमोहन व्यास, महेश व्यास, जन्मेजय व्यास, हरीकिशन जोशी, ताराचंद सेठी, बृजगोपाल जोशी, मोहनलाल जोशी, राजाराम स्वर्णकार, नारायण दास रंगा, महेंद्र जैन, मंगलचंद रंगा, बिंदु प्रसाद रंगा, अनिल जोशी आदि मौजूद रहे।

Share your love
Facebook
Twitter

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *